जयपुर । राजस्थान के जयपुर में एक 12 साल के लड़के को फिल्मी अंदाज में बदमाश किडनैप कर लिया। इसकी सूचना मिलते ही पुलिस ने पूरे शहर के नाकाबंदी करवा दी और बच्चे की तलाश में जुट गई। इसी दौरान बदमाशों की कार कीचड़ में फंस कर पलट गई। इसके बाद उन्हें पुलिस ने दबोच लिया। तब तक बदमाशों ने किडनैप किए गए बच्चे को एक अंधेरी कोठरी में छुपा दिया था। यह घटना सांगानेर सदर इलाके के फतेहपुर की है।
20 अगस्त को शाम को 12 साल का लड़का घर के पास साईकिल चला रहा था। तभी कार में आए 2 बदमाशों ने बच्चे का अपहरण कर लिया। इस दौरान वहां खेल रहे दूसरे बच्चे चिल्लाने लगे। तब परिजनों को इसकी भनक लगी। परिजनों ने तुरंत पुलिस कंट्रोल रूम में इसकी सूचना दी तो आसपास के इलाकों में पुलिस ने ए-श्रेणी की नाकाबंदी कर दी। पुलिस को सूचना मिली कि इलाके में एक कार कीचड़ में फंस कर पलट गई। इसमें सवार 2 संदिग्ध युवकों पर पुलिस की नजर पड़ी। सख्ती से पुलिस ने पूछताछ की तो बदमाशों ने अपना जुर्म स्वीकार कर लिया। इसके बाद पुलिस ने बिना देर किए बदमाशों की निशानदेही पर देर रात बांसखो क्षेत्र में एक मकान पर दबीश दी। जब पुलिस बच्चे को किडनैपर्स के चंगुल से छुड़ाने पहुंची तो उनके भी होश उड़ गए। यहां एक कोठरी के अंदर बच्चे को बंधक बनाकर रखा था। मासूम के मुंह पर टेप लगाकर उसका मुंह बंद कर दिया था और दोनों हाथ-पैरों को रस्सी की मदद से बांधकर उसकी आंखों पर भी पट्टी बांध दी थी। 
पुलिस पूछताछ में पता चला है कि मासूम का अपहरण करने वाला मास्टरमाइंड सचिन बच्चे के पिता का दोस्त था। उसका काफी समय से घर पर आना जाना था। सचिन का कुछ समय पहले ही बीएसएफ में चयन हुआ, लेकिन उसकी जॉइनिंग नहीं हुई थी। ऐसे में मौज-मस्ती और अय्याशी के कारण उस पर कर्ज भी हो गया। इसके लिए उसने अपने दोस्त अशोक के साथ मिलकर 15 दिन पहले बच्चे के अपहरण की साजिश रची। उसकी ख्वाहिश थी कि 7 बहनों के इकलौते भाई का अपहरण कर वो मुंह मांगी रकम वसूल लेगा लेकिन अब सलाखों के पीछे है।