भारतीय शेयर बाजारों में मंगलवार, 9 दिसंबर को लगातार दूसरे दिन कमजोरी के साथ कारोबार की शुरुआत हुई। शुरुआती ट्रेडिंग में सेंसेक्स 633 अंक तक लुढ़क गया और निफ्टी 24,750 के स्तर तक फिसल गया। हालांकि दोपहर तक बाजार ने अपने नुकसान का बड़ा हिस्सा रिकवर करते हुए मजबूत वापसी दिखाई।
दिन के निचले स्तर 84,382 से सेंसेक्स लगभग 450 अंक ऊपर आ गया, जबकि निफ्टी ने भी 25,900 के पार लौटकर गिरावट को काफी हद तक सीमित कर लिया। हालांकि दोनों प्रमुख इंडेक्स अब भी लाल निशान में थे।
दोपहर 12:20 बजे सेंसेक्स 244.07 अंक (0.29%) की गिरावट के साथ 84,858.62 पर और निफ्टी 48.85 अंक (0.19%) टूटकर 25,911.70 पर कारोबार कर रहे थे।
कैसे थमी बाजार की गिरावट? ये रहे 3 बड़े कारण
1. क्रूड ऑयल की कीमतों में गिरावट
अंतरराष्ट्रीय बाजार में ब्रेंट क्रूड 0.21% गिरकर 62.36 डॉलर प्रति बैरल पर आ गया। कच्चे तेल में गिरावट से भारत के आयात बिल और महंगाई के दबाव में कमी आती है। इससे निवेशकों की धारणा बेहतर हुई और गिरावट पर खरीदारी बढ़ी, जिसने बाजार को सपोर्ट दिया।
2. निचले स्तरों पर वैल्यू बायिंग
तेज शुरुआती गिरावट के बाद निवेशकों ने चुनिंदा मजबूत शेयरों में वैल्यू बायिंग शुरू कर दी। कम कीमतों पर हुई इस खरीदारी ने सेंसेक्स और निफ्टी दोनों को स्थिरता प्रदान की और इंडेक्स को ऊपर खींचने में अहम भूमिका निभाई।
सभी 16 सेक्टोरल इंडेक्स शुरुआती घंटे में लाल निशान में थे, लेकिन वैल्यू बायिंग से दबाव कम हुआ।
3. मिडकैप और स्मॉलकैप में रिकवरी
ब्रॉडर मार्केट में भी शुरुआत में भारी गिरावट देखी गई थी।
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निफ्टी मिडकैप-100 अपने 52-वीक हाई से करीब 4.5% नीचे चला गया था।
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वहीं निफ्टी स्मॉलकैप-100 अपने हालिया हाई से करीब 15% टूट चुका था।
लेकिन दोपहर तक दोनों इंडेक्स हरे निशान में लौट आए, जिससे बाजार के मनोबल को मजबूत समर्थन मिला। इस रिकवरी ने सेंसेक्स और निफ्टी दोनों की वापसी को गति दी।